तेरी आँखें हैं मधुशाला इस पर शेर लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ/Teri aankhe hain Madhushala - 5MINUTES NEWS

Page Nav

HIDE

Gradient Skin

Gradient_Skin

MUST READ

latest

तेरी आँखें हैं मधुशाला इस पर शेर लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ/Teri aankhe hain Madhushala

तेरी आँखें हैं मधुशाला इस पर शेर लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ (Teri Aankhe hain Madhushala iss par sher likhun ya ghazal kahun) तब शुर...


तेरी आँखें हैं मधुशाला इस पर शेर लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ
(Teri Aankhe hain Madhushala iss par sher likhun ya ghazal kahun)
तेरी आँखें हैं मधुशाला इस पर शेर लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ/Teri aankhe hain Madhushala

तब शुरू-शुरू मुम्बई आया था। पटना के एक मेरे अज़ीज़ दोस्त थे, हालांकि मेरे से बड़े थे, वो एक फ़िल्म बना रहे थे, जिसका नाम था- शहीदे-बिहार। मेरे दोस्त ने कहा कि 4 Songs चाहिए हमारी फ़िल्म के लिए और चारों तुम्हीं लिखो। मैंने कहा- कोशिश करूंगा। गोरेगांव में रहता था तब। हमारी बिल्डिंग के नीचे एक गाड़ी खड़ी थी। शाम के वक़्त उसी गाड़ी पर ढ़ोलक बजाया और मेरी ज़ुबाँ पर उसी दौरान एक लाइन आई- तेरी आँखें हैं मधुशाला (Teri Aankhe hain Madhushala iss par sher likhun ya ghazal kahun) स पर शेर लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ और यह गाना आज Youtube पर बहुत Famous है। पूरा गाना इस तरह है।

style="border: 0px; box-sizing: border-box; display: inline-block; font-family: inherit; font-stretch: inherit; font-style: inherit; font-variant: inherit; font-weight: inherit; height: 0px; line-height: inherit; margin: 0px; padding: 0px; vertical-align: baseline; width: 300px;">
Teri Aankhe Hain Madhushala Iss par sher likhun ya ghazal kahun
तेरी आँखें हैं मधुशाला 
(Teri Aankhe hain Madhushala iss par sher likhun ya ghazal kahun)
इस पर शेर लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ।
तेरे होठ है सुर्ख गुलाबी 
इसको एक प्यारा सा कमल कहूँ।।
तेरी आँखें हैं मधुशाला इस पर शेर लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ/Teri aankhe hain Madhushala

तू मेरी चाहत तू ही मोहब्बत
तू मेरी धड़कन तू मेरी हसरत
तुझको मैं उल्फ़त कहूँ।
तेरी आँखें हैं मधुशाला
(Teri Aankhe hain Madhushala iss par sher likhun ya ghazal kahun)
इस पर शेर लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ।।
तू मस्तानी है मौजों की रवानी है
कह के भी ना कह पाऊं तू ऐसी कहानी है
तू मेरी खुशी है तू मेरी ज़िंदगी 
तू मेरी आरज़ू तू मेरी ज़ुस्तज़ू
तुझको मैं उल्फ़त कहूँ
तेरी आँखें हैं मधुशाला।
(Teri Aankhe hain Madhushala iss par sher likhun ya ghazal kahun)
इस पर शेर लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ।।

तू सर्दी की धूप तू गर्मी की शाम
देख कर छाए नशा तू ऐसी है ज़ाम
तू मेरी साँसों में तू मेरी बातों में
तू मेरी यादों में तू मुलाक़ातों में
तुझको मैं क़िस्मत कहूँ
तेरी आँखें हैं मधुशाला
(Teri Aankhe hain Madhushala iss par sher likhun ya ghazal kahun)

Teri aankhe hai madhushala iss pe sher likhun ya ghazal kahun

इस पर शेरे लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ।।
तो दोस्तों! यह था मेरे द्वारा लिखा हुआ गाना "तेरी आँखें हैं मधुशाला इस पर शेर लिखूँ या ग़ज़ल कहूँ" (Teri Aankhe hain Madhushala iss par sher likhun ya ghazal kahun) आपको कैसा लगा ज़रूर बताईयेगा। मिलते हैं नए विषय के साथ ज़ल्द ही। आप जुड़े रहिये हमारे  साथ|

No comments

Advertisment