Option vs Future: अगर इसी तरह बढ़ता रहा कटान तो क्या होगा नौरंगा का भविष्य? नौरंगा गाँव में जिस तरह से कटान दिन-प्रतिदिन बढ़ रहा है अब हाल...
Option vs Future: अगर इसी तरह बढ़ता रहा कटान तो क्या होगा नौरंगा का भविष्य?
नौरंगा गाँव में जिस तरह से कटान दिन-प्रतिदिन बढ़ रहा है अब हालत यह हो गयी है कि लोगों को कुछ समझ में नहीं आ रहा है. अब तो बात यह हो गयी है कि Option vs Future. तो क्या है Option vs Future? नौरंगा ग्राम सभा के लोगों के सामने Future का सवाल है और जब Future दिखाई दे रहा है तो लोग सोच रहे हैं कि अब छोड़ कर अपनी मातृभूमि को जाएँ.
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लेकिन Option vs Future में अगर बात Option की जाए तो लोग जाएँ तो जाएँ कहाँ ? आप तस्वीरों और विडियो को देखकर अंदाज़ा लगा सकते हैं कि किस तरह गंगा का कटान अपना रौद्र रूप धारण किये हुए आगे बढ़ रहा है. आप अंदाज़ा लगा सकते हैं कटान का यह भयावह रूप देखकर कि नौरंगा का Future क्या है?
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Option vs Future: अब समय आ गया है नौरंगा ग्राम सभा के लोगों को निर्णय के उस मोड़ पर पहुँचने का जहां से Future उनका साफ़ और सुरक्षित दिखाई दे रहा हो, उनकी आने वाली पीढ़ी के लिए, उनके लिए. और अगर Future सुरक्षित रखना है, तो निश्चित तौर पर Option की तलाश करनी होगी.
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एक बात तो तय है कि इस ग्राम सभा की ओर किसी भी नेता, राजनेता या सरकार (Indian Government) का बिल्कुल ध्यान नहीं है. इन सभी नेताओं को इस ग्राम सभा की याद आती है, सिर्फ और सिर्फ चुनाव (Election) के समय. चुनाव का समय आते ही नेताओं का कारवाँ इस गाँव की तरफ आता दिखाई देता है और बड़े-बड़े वादे सुनाई देते हैं. फिर आई, गयी, बात ख़तम.
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अब नौरंगा ग्राम सभा के लोगों को जागना पड़ेगा. निर्णय लेना पड़ेगा. सोचना पड़ेगा. कुछ करना पड़ेगा. अपने उस भविष्य Future के लिए, जो अँधेरे में नज़र आ रहा है. उस भविष्य के लिए जो डूबता हुआ नज़र आ रहा है. क्योंकि अब गंगा वहाँ पहुँच चुकी हैं, जहां लोगों का बसेरा था. अब सोचने का समय आ गया है कि जाएँ तो जाएँ कहाँ?
Option vs Future
निश्चित तौर पर अब नौरंगा ग्राम सभा के लोगों को अपना सुरक्षित भविष्य निर्धारित करने के लिए आगे बढ़ना पड़ेगा और उस Future को जो अँधेरे में दिख रहा है, उसके लिए कोई option निकालना पड़ेगा, क्योंकि अब लड़ाई ना सिर्फ अस्तित्व बचाने की है, बल्कि लड़ाई है Option vs Future की.
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